क्यों सुप्रीम कोर्ट द्वारा गठित समिति के सदस्यों को ​कृषि क़ानूनों का समर्थक कहा जा रहा है

  • 📰 द वायर हिंदी
  • ⏱ Reading Time:
  • 36 sec. here
  • 2 min. at publisher
  • 📊 Quality Score:
  • News: 18%
  • Publisher: 63%

इंडिया मुख्य बातें समाचार

इंडिया ताज़ा खबर,इंडिया मुख्य बातें

क्यों सुप्रीम कोर्ट द्वारा गठित समिति के सदस्यों को ​कृषि क़ानूनों का समर्थक कहा जा रहा है FarmersCommittee SupremeCourt AshokGulati BhupinderSinghMann किसानसमिति सुप्रीमकोर्ट अशोकगुलाटी भूपेंद्रसिंहमान

दिल्ली की सीमाओं पर प्रदर्शन कर रहे किसानों को वहां से हटाने की कई याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए बीते 12 जनवरी को चीफ जस्टिस एसए बोबडे की अध्यक्षता मेंहालांकि, अदालत ने गतिरोध को दूर करने के लिए एक समिति का गठन करके विरोध कर रहे लाखों किसानों के विरुद्ध केंद्र सरकार को स्पष्ट रूप से एक लाभप्रद स्थिति में डाल दिया है, क्योंकि इस समिति में सिर्फ वही विशेषज्ञ शामिल हैं, जो इन कानूनों का खुलकर समर्थन करते रहे हैं.

ने कहा है कि वे इस समिति के सामने पेश नहीं होंगे. सुप्रीम कोर्ट की समिति के सदस्य सरकार के समर्थक है, जो इन कानूनों के पक्षधर हैं.ने किसान आंदोलन से सही तरह से नहीं निपटने के लिए केंद्र सरकार को फटकार भी लगाई थी. हालांकि, उन्हें भारतीय कृषि व्यापार में मुक्त बाजार सुधारों का हितैषी माना जाता है और वह देश में अनियमित कृषि बाजार की वकालत करते हैं. वह साल 2015 में कृषि पर नीति आयोग की टास्कफोर्स के सदस्य भी रह चुके हैं और कृषि बाजार सुधारों में विशेषज्ञ समूह के चेयरमैन भी रह चुके हैं.

वह हैदराबाद में राष्ट्रीय कृषि अनुसंधान प्रबंधन अकादमी के निदेशक रहे हैं. उन्होंने विश्व बैंक के कृषि विज्ञान और प्रौद्योगिकी विकास के अंतरराष्ट्रीय मूल्यांकन पर अंतर सरकारी पैनल के सदस्य के रूप में भी काम किया है.

 

आपकी टिप्पणी के लिए धन्यवाद। आपकी टिप्पणी समीक्षा के बाद प्रकाशित की जाएगी।

Aise me sishpakchh ray kya denge ye log. Kisaan ko nyay milna mushkil kar denge

हमने इस समाचार को संक्षेप में प्रस्तुत किया है ताकि आप इसे तुरंत पढ़ सकें। यदि आप समाचार में रुचि रखते हैं, तो आप पूरा पाठ यहां पढ़ सकते हैं। और पढो:

 /  🏆 3. in İN

इंडिया ताज़ा खबर, इंडिया मुख्य बातें

Similar News:आप इससे मिलती-जुलती खबरें भी पढ़ सकते हैं जिन्हें हमने अन्य समाचार स्रोतों से एकत्र किया है।

कृषि कानून पर समिति के गठन के बाद सुप्रीम कोर्ट में आज अहम सुनवाई होगीसुप्रीम कोर्ट दिल्ली पुलिस की ओर से केंद्र सरकार की उस याचिका पर भी सुनवाई करेगा,  जिसमें 26 जनवरी को गणतंत्र दिवस पर ट्रैक्टर मार्च या किसी अन्य तरह के प्रदर्शन पर रोक लगाने का अनुरोध किया गया है. असल में खालिस्तानियों का आंदोलन है किसानों का नाम का आंदोलन एक बहाना है इस आंदोलन देशद्रोही समलित है कांग्रेसी केजरीवाल सरकार विपक्ष का समर्थन है कांग्रेस 70 साल में देश का हित नहीं कर पाई ना ही करना चाहती है दोगली कांग्रेस कोई मतलब नहीं कि लोग मरे या जिए एक ही दिन में सुप्रीम कोर्ट द्वारा अर्नब को ज़मानत मिलते ही लोगों को समझ जाना चाहिए था कि कोर्ट किसके इशारों पर काम करता है! खैर बाकी आप व्हाट्सएप्प_चैट से समझ ही गये होंगे!
स्रोत: NDTV India - 🏆 6. / 63 और पढो »

मुनव्वर फ़ारूक़ी की रिहाई सुप्रीम कोर्ट के जज के फ़ोन के बाद हुई - BBC News हिंदीसुप्रीम कोर्ट से ज़मानत मिलने के बाद भी फ़ारूक़ी की रिहाई में हो रही देरी पर जज को करना पड़ा फ़ोन. आज के अख़बारों की सुर्खियाँ गुड And you think everything going fine यह तो देश का हाल है,
स्रोत: BBC News Hindi - 🏆 18. / 51 और पढो »

पांच शहरों में लॉकडाउन लगाने के HC के आदेश के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट पहुंची यूपी सरकारइलाहाबाद हाईकोर्ट ने लखनऊ, प्रयागराज, वाराणसी, कानपुर और गोरखपुर में लॉकडाउन लगाने के आदेश दिए थे. मा. SC, महाराज को जबर मुआवजा लगा के गेट बाहेर करना यही विनंती. देश हित के लिए lockdown का विरोध करो।।। UP mei kya election aane wale hai🤔
स्रोत: NDTV India - 🏆 6. / 63 और पढो »

किसान आंदोलनः किसानों को न्याय मिलेगा, सुप्रीम कोर्ट की समिति के सदस्य बोले - BBC Hindiअनिल घनवत ने कहा कि हम पूरे देश के किसानों के हित को देखकर हल निकालेंगे, ना सिर्फ महाराष्ट्र या पंजाब के किसानों को ध्यान में रखकर. 'हिन्दू खतरे में हैं' मोदी जी मुस्लिम देशों से 29 रूपए लीटर पेट्रोल खरीद कर... 👇 हिन्दुओं को 91 रूपए लीटर बेचकर ख़तरे से निकाल रहे हैं...!! 🤔 FarmersRejectSCcommittee 🇮🇳 जय जवान जय किसान 🇮🇳 🙏🙏🙏 ये समिति पहले ही सरकार को समर्थन दे चुकि है ये किसानो का पक्ष कैसे रखेगे FarmersRejectSCcommittee
स्रोत: BBC News Hindi - 🏆 18. / 51 और पढो »

सुप्रीम कोर्ट की समिति के सदस्य सरकार समर्थक, उसके समक्ष पेश नहीं होंगे: किसान संगठनसुप्रीम कोर्ट द्वारा नए कृषि क़ानूनों पर रोक लगाते हुए किसानों से बात करने के लिए समिति बनाने के निर्णय पर किसान संगठनों ने कहा कि वे इस समिति को मान्यता नहीं देते. जब तक क़ानून वापस नहीं लिए जाते तब तक वे अपना आंदोलन ख़त्म नहीं करेंगे. JIO की 5G की टेस्टिंग से देश में पक्षी मर रहे हैं और लोगों को मूर्ख बनाया जा रहा है कि बर्ड फ्लू फैल रहा है 🙏
स्रोत: द वायर हिंदी - 🏆 3. / 63 और पढो »

क्या Amazon के कर्मचारियों को काम के बोझ के चलते बोतल में करना पड़ता है पेशाब?दुनिया की सबसे लोकप्रिय वेबसाइट में शुमार एमेजॉन पर पिछले कई सालों से उसके कर्मचारियों के शोषण के आरोप लगते रहे हैं. अब अमेरिका के एक नेता के ट्वीट पर प्रतिक्रिया देने के बाद एमेजॉन कंपनी फिर विवादों में है. मार्क पोकन नाम के इस शख्स ने ट्वीट में लिखा था कि अपने कर्मचारियों को 15 डॉलर प्रति घंटे देने से आप प्रोग्रेसिव वर्क प्लेस नहीं बन जाते हैं खासतौर पर तब जब आपके कर्मचारियों को काम के बोझ के चलते बोतलों में पेशाब करना पड़ता है. Please follow me 👋👋👋 🙄 Mutte to humare Dada Ji the matlab chalte chalte he mut dete the
स्रोत: AajTak - 🏆 5. / 63 और पढो »