केंद्र के साथ पांचवे राउंड की बातचीत फेल होने के बाद किसानों ने 8 दिसंबर को भारत बंद का ऐलान कियापवार बोले- जब बिल पास किया जा रहा था, हमने सरकार से कहा था कि उन्हें जल्दबाजी नहीं दिखानी चाहिएकेंद्र सरकार के साथ पांचवे राउंड की बातचीत असफल रहने के बाद किसानों ने अब 8 दिसंबर को भारत बंद का ऐलान किया है। कई राजनीतिक दलों ने इसे समर्थन दिया है तो कई नेताओं ने किसान आंदोलन को लेकर चिंता भी जताई है। एनसीपी अध्यक्ष शरद पवार का कहना है कि अगर जल्द से जल्द समाधान नहीं हुआ तो देशभर के किसान...
शरद पवार ने कहा, 'पंजाब और हरियाणा के किसान गेंहू और धान के मुख्य उत्पादक हैं और वे प्रदर्शन कर रहे हैं। अगर स्थिति का समाधान नहीं किया गया तो जल्द ही देशभर के किसान उनके साथ शामिल हो जाएंगे। जब बिल पास किया जा रहा था, हमने सरकार से गुजारिश की थी कि उन्हें जल्दबाजी नहीं दिखानी चाहिए।''हमने कहा था कि बिल चयन समिति को भेजें'
कृषि बिल को लेकर शरद पवार बोले, 'बिल को चयन समिति के पास भेजा जाना चाहिए था और उस पर चर्चा की जरूरत थी लेकिन ऐसा नहीं हुआ और बिल पास कर दिया गया। अब सरकार को वही जल्दबाजी भारी पड़ रही है।'इससे पहले तेलंगाना के मुख्यमंत्री और तेलंगाना राष्ट्र समिति के अध्यक्ष के.
कांग्रेस ने ऐलान किया है कि वह 8 दिसंबर को भारत बंद का समर्थन करेगी। इसके अलावा लेफ्ट पार्टियों ने भी एक संयुक्त बयान जारी कर भारत बंद का खुलकर समर्थन किया। ममता बनर्जी की तृणमूल कांग्रेस , लालू प्रसाद यादव की राष्ट्रीय जनता दल , तेलंगाना राष्ट्र समिति , राष्ट्रीय लोकदल ने भी राष्ट्रव्यापी बंदी का साथ देने का फैसला किया है। अरविंद केजरीवाल की आम आदमी पार्टी ने भी बंद के समर्थन का ऐलान किया है।बता दें कि पंजाब-हरियाणा के किसानों ने कृषि कानून के खिलाफ 26-27 नवंबर को दिल्ली चलो मार्च का...
8 December Bharat Bandh: किसानों का ऐलान, 8 दिसंबर को भारत बंद, शनिवार को फूकेंगे मोदी सरकार का पुतलादेश-दुनिया की खबरें, आपके शहर का हाल, एजुकेशन और बिज़नेस अपडेट्स, फिल्म और खेल की दुनिया की हलचल, वायरल न्यूज़ और धर्म-कर्म... पाएँ हिंदी की ताज़ा खबरें
8दिसंबर_भारत_बंद ये जो अन्न पैदा होता है कोई पार्टी नही उगाती , किसान किसी पार्टी का नही ,वो उस आसमान बारिस बराबर है जो सबके लिए है ,,,,,तीनो कानुन बिल से किसान सहमत नही, बहस के लिए किसान तैयार नही ,किसान कि इच्छा घर,परिवार,गाव ,देश सब का पेट भरना है,,,,,
Panwar sahab bhee aag me ghee lekar chale aaye
कई करोड़ की बैगन की फसल इनकी तैयार खड़ी है खेतों में, पूर्व भारत के कृषि मंत्री जब किसान बन डकैती में लगे है,तो कल्पना करिए सत्तर साल से कांग्रेसी मंडी दलाल और लूटियन गैंग क्या कर रही होगी, किसान कानून राष्ट्र के लिए गर्व की बात है,
देश भर के किसानों का स्वागत है पर छलिए राजनीतिक किसान आंदोलन से दूर रहे तो हल निकल जाएगा
सबसे बड़ा दलाल बोला..महाराष्ट्र ( विदर्भ ) के गन्ना किसानों के दुख बहुत बड़ा कारण आई यह पाखंडी दलाल पँवार चाहे बादल हो या पँवार सब के सब को दलाली खत्म हो जाने का डर है
किसानो को भडकाया किसने है?
So it is clear not all the farmers are opposing these law but only from a particular state.
His farmer daughter’s agriculture income is ₹ 100 crores . Why you his man is worried?
हाँ सबसे ज्यादा तो मंडी पर इन्ही का कब्जा है सब दलाली खत्म होने के डर से काँप उठे है ।
Bkwas
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