DRDO ने Akash-NG का किया सफल परीक्षण, खासियत जान दुश्मनों के उड़ेंगे होश

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रक्षा क्षेत्र में भारत की एक और बड़ी उपलब्धि, आकाश-एनजी का सफलतापूर्वक परीक्षण पूरा पढ़ें: AkashNG DRDO Balasore ATCard | Ashi_IndiaToday

आकाश-एनजी मिसाइल को बनाने की अनुमति साल 2016 में मिली थी. इस मिसाइल में डुअल पल्स सॉलिड रॉकेट मोटर है, जो इसकी गति को बढ़ाता है. इसकी रेंज 40 से 80 किलोमीटर है. साथ ही इसमें एक्टिव इलेक्ट्रॉनिकली स्कैन्ड ऐरे मल्टी फंक्शन राडार लगा है जो एकसाथ कई दुश्मन मिसाइलों या विमानों को स्कैन कर सकता है.

25 जनवरी को DRDO ने आकाश-एनजी मिसाइल की लॉन्चिंग ओडिशा के चांदीपुर तट पर इंटीग्रेटेड टेस्ट रेंज के मोबाइल प्लेटफॉर्म से किया. इसे एक इलेक्ट्रॉनिक टार्गेट की तरफ लॉन्च किया गया था, जिसको इसने सटीकता से भेद दिया.आकाश-एनजी मिसाइल का कुल वजन 720 किलोग्राम है. इसकी लंबाई 19 फीट और व्यास 1.16 फीट है. ये अपने साथ 60 किलोग्राम वजन का हथियार ले जा सकता है. फिलहाल भारत में इसके तीन वैरिएंट मौजूद हैं- पहला आकाश एमके- इसकी रेंज 30KM है. दूसरा आकाश एमके.2 - इसकी रेंज 40KM है.

आकाश-एनजी मिसाइल 20 किलोमीटर की ऊंचाई तक जाकर दुश्मन के विमान या मिसाइल को नष्ट कर सकती है. सबसे ज्यादा खतरनाक इसकी गति है. ये दुश्मन को बचने की तैयारी का मौका नहीं देता. इसकी गति 3.5 मैक यानी 4321 किलोमीटर प्रतिघंटा है. यानी एक सेंकेंड में सवा किलोमीटर की दूरी तय करता है.

 

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