नॉर्थ-ईस्ट पर नजर, 2019 में BJP के लिए अहम होंगी ये 25 सीटें

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नार्थ ईस्ट में कमल खिलाने की कोशिश में है अमित शाह और नरेंद्र मोदी (imkubool)

 

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imkubool एससी एसटी एक्ट काला कानून वापस ले लो नहीं तो आप सत्ता से वापस हो जाओगे यह बात मैं डंके की चोट पर बोल रहा हूं ठाकुर जोगेंद्र सिंह भदौरिया राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिल विश्व छत्रिय महासभा

imkubool Hate mongers who want to convert the whole nation into Hindutwa should see this. Live and let live. Nation belongs to every Indian who lives here and practices any faith or religion of his choice. SreenivasanJain swapan55 vikramchandra sardesairajdeep BDUTT ShekharGupta

imkubool मुंगेरीलाल के हसीन सपने देख सकते हैं कोशिश भी कर सकते हैं लेकिन कमल सिर्फ कीचड़ में आएगा नार्थ ईस्ट में बिल्कुल भी नहीं चैनल्स चाहे जितनी जोर से चूसते रहें लेकिन मजा नहीं आएगा दलाल मीडिया वालों...

imkubool वहाँ भी दंगे होंगे?

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PSE: दिल्ली में राहुल गांधी के लिए बुरी खबर, लोकप्रियता में गिरावट! PSE:Bad news for Rahul Gandhi, popularity declines! - Political Stock Exchange AajTakपॉलिटिकल स्टॉक एक्सचेंज में आज हम आपको दिल्ली में नरेंद्र मोदी, राहुल गांधी और अरविंद केजरीवाल की लोकप्रियता दिखाएंगे. अक्टूबर 2018 में, पीएम मोदी की लोकप्रियता 49 प्रतिशत थी और अब, जनवरी 2019 में भी उनकी लोकप्रियता 49 प्रतिशत है. इससे यह स्पष्ट है कि पीएम मोदी की लोकप्रियता में कोई बदलाव नहीं है. दिलचस्प बात यह है कि अक्टूबर 2018 में राहुल गांधी की लोकप्रियता 43 प्रतिशत से गिरकर जनवरी 2019 में 40 प्रतिशत हो गई है. क्या राहुल गांधी की लोकप्रियता गिरने का कारण सिख विरोधी दंगों के पीड़ितों के साथ  हुआ अन्याय है? अरविंद केजरीवाल ने अक्टूबर 2018 के लोकप्रियता इंडेक्स की तुलना में लोकप्रियता में बढ़त हासिल की है. अरविंद केजरीवाल ने जनवरी 2019 में कितनी लोकप्रियता हासिल की है, यह जानने के लिए राजनीतिक स्टॉक एक्सचेंज देखें. anjanaomkashyap Lo ji. Aa gya bjp ka dalal channel. anjanaomkashyap बिल्कुल भी गिरावट नहीं है यह गोदी मीडिया की चाल है तुम तो पहले ही मोदी मीडिया हो तुम क्या किसी को गिरावट दिखाओगे anjanaomkashyap मोहतरमा आप इस आँकड़ो पे ज्यादा खुश हो ?
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मिशन 2019: महाराष्ट्र में BJP-शिवसेना में दरार के बीच कांग्रेस और NCP में करारNationalist Congress Party (NCP) के वरिष्ठ नेता प्रफुल्ल पटेल ने कांग्रेस के साथ लोकसभा चुनाव के लिए महाराष्ट्र में गठबंधन का ऐलान किया. प्रफुल्ल पटेल ने कहा कि एनसीपी और कांग्रेस ने महाराष्ट्र में एक साथ लोकसभा चुनाव लड़ने का फैसला लिया है. Namo once More दोनो चोर फिर साथ साथ , ShivSena को भी साथ लेना चाहिए। प्रफुल्ल कुमार जी आपके ऐलान करने से कुछ नहीं होगा देश की जनता इतनी बेवकूफ नहीं है जितना आप सोच रहे हैं दिल्ली को संभालना राहुल के बस की बात नहीं है
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Shocking Video: शेर ने गांव में घुसकर घर बाहर किया अटैक, मुंह में दबाकर साथ ले गया शिकार बनाया अपना निवालावीडियो डेस्क। आपने गांव में घुसकर शेर के शिकार के किस्से तो खूब सुने होंगे लेकिन आज हम आपको दिखा रहे हैं शेर का लाइव शिकार। गुजरात का गिर जंगल के राजा शेर के लिए जाना जाता है। यहां का एक गांव इन दिनों शेर की आहट से दहशत में है। दरअसल जालंधर गांव में घुसकर मंगलवार रात को शेर ने बछड़े का शिकार कर लिया। वीडियो में साफ दिखाई दिखाई दे रहा है कि एक घर के दरवाजे के सामने बछड़ा बैठा हुआ है। तभी शेर आता है और शिकार कर उसे उठाकर ले जाता है। ये पूरी घटना सामने मौजूद गांव के सरपंच के घर के सीसीटीव में कैद हो गई।
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खबरदार: क्या BJP 2014 का चुनावी एजेंडा 2019 में भी दोहराएगी? Will the election agenda of 2014 be repeated in 2019? - khabardar AajTakक्या भ्रष्टाचार का मुद्दा मिशन 2019 का भी चुनावी एजेंडा बनने वाला है? ख़बरदार में आज हम विश्लेषण की शुरुआत इसी सवाल के साथ करेंगे, क्योंकि पिछले 24 घंटे की पॉलिटिक्स से तो यही समझ में आ रहा है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 2014 के चुनावी एजेंडे को 2019 में भी रिपीट करना चाहते हैं. भले ही राफेल को लेकर राहुल गांधी लगातार उन्हें घेरने की कोशिश कर रहे हैं, लेकिन अब ऐसा लग रहा है कि भ्रष्टाचार के मुद्दे पर नरेंद्र मोदी सिर्फ पलटवार ही नहीं बल्कि इसे चुनाव तक भी ले जाना चाहते हैं. क्रिश्चियन मिशेल की बात हो या फिर रॉबर्ट वाड्रा के करीबियों के खिलाफ जांच हों, टीम मोदी हर मुमकिन रास्तों से कांग्रेस को फिर उसी मुद्दे पर घेरने में जुटी है जो नरेंद्र मोदी को 2014 की जीत दिलवाने में एक बड़ा फैक्टर रहा था. भ्रष्टाचार के इस चुनावी एजेंडे में नया मामला यूपी का जुड़ा गया है, जहां अखिलेश सरकार के दौरान खनन मामले को सीबीआई ने खोला, जिसकी टाइमिंग के बारे में विरोधी ये कह रहे हैं कि गठबंधन के पीछे सीबीआई लगा दी गई है. नहीं तो क्या सीबीआई की कार्यवाही पर रोक लगा देनी चाहिए क्या ? सपा बसपा का गठवन्धन जनता के विकाश के लिए नहीं बल्कि लूट भृस्टा चार करने के लिए ही बन रहा है बरना क्या जरूरत थी गठजोड़ करने की ☺️☺️ बीजेपी वालों कान खोल कर सुन लो आपको 5 महीनों में सबक मिल जाएगा
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बेबाक बोल: आनेवाला साल 2019आनेवाला साल 2019 है। नाम में क्या रखा है की तर्ज पर साल में क्या रखा है का भी सवाल किया जा सकता है। लेकिन कैलेंडरी रस्मअदायगी के अपने मायने हैं। भारतीय राज और समाज में आनेवाले नए साल पर तो पांच साल के हिसाब-किताब का बोझ है। पिछले आम चुनाव के बाद 2014 से ही 2019 का नारा गूंजने लगा था। नए साल की दहलीज पर कैलेंडर बदलने के पहले भारतीय राजनीति का कथ्य बदल रहा है। भारतीय राजनीति में क्षेत्रीय दलों के अस्तित्व और विकल्प की शुरुआत ही कांग्रेस विरोधी नारे के साथ हुई थी और उत्तर से लेकर दक्षिण तक के क्षेत्रीय दल भाजपा के विजय रथ से घबराए हुए दिख रहे थे। वहीं आज स्टालिन जैसे नेता कांग्रेस अध्यक्ष के जयकारे लगा रहे हैं। ओड़ीशा और पश्चिम बंगाल जैसे क्षेत्रीय दलों की अगुआई वाले राज्यों के लिए अब कांग्रेस नहीं भाजपा की चुनौती है। पिछले साल के दिसंबर से लेकर अलविदा कह रहे इस दिसंबर तक बदले राजकाज पर बेबाक बोल।
स्रोत: Jansatta - 🏆 4. / 63 और पढो »

PSE: गुजरात में पीएम मोदी की लोकप्रियता बढ़ी PSE: Rise in PM Modi's popularity in Gujarat - Political Stock Exchange AajTakपॉलिटिकल स्टॉक एक्सचेंज ने गुजरात में सर्वे में पाया है कि सीएम विजय रूपानी की लोकप्रियता में गिरावट आई है, लेकिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को उनके गृह राज्य  में लोकप्रियता में वृद्धि मिली है. गुजरात के लिए अक्टूबर 2018 में आयोजित पॉलिटिकल स्टॉक एक्सचेंज के बाद से पीएम मोदी की लोकप्रियता में 1 फीसदी की वृद्धि हुई है. अक्टूबर 2018 में पीएम मोदी की लोकप्रियता 61 प्रतिशत दर्ज की गई थी और अब, जनवरी 2019 में, यह 62 प्रतिशत दर्ज की गई है, जबकि राहुल गांधी ने लोकप्रियता के मामले में स्थिरता बनाए रखी है. अक्टूबर, 2018 में उनकी लोकप्रियता 28 प्रतिशत थी और अब, जनवरी 2019 में भी 28 प्रतिशत ही है. anjanaomkashyap मैं भी BJP4UP सरकार से पूछना चाहता हु की उत्तरप्रदेश_सिपाही_भर्ती_2013 कब पूरी होगी। और होगी भी या नही और अगर नही होगी तो ये 11000 लड़के जो 5 साल से न्युक्ति का इंतजार कर रहे है इनका क्या होगा जबाब जरूर दे यूपी सरकार amarupp2013 uppolice2013 VipulHindustani anjanaomkashyap अंजना मेम आपकी कमिटमेंट गजब की लगती है anjanaomkashyap जो आपके और मेरे दिमाग में चल रहा है वही आम जनता के दिमाग में भी चल रहा है🤔
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सस्ते हुए Xiaomi के ये दो पॉपुलर स्मार्टफोन, जानें नई कीमत– News18 हिंदीचीन स्मार्टफोन निर्माता कंपनी शियोमी ने भारत में बिक्री के लिए उपलब्ध Redmi Note 5 Pro और Mi A2 के दाम में कटौती की है. कंपनी ने अपने इन दोनों स्मार्टफोन के दाम में कटौती भारतीय बाजार में 5 साल पूरा होने के उपलक्ष में की है. बता दें कि कंपनी ने अभी हाल ही में कहा था कि वह अपने फैंस को 7 जनवरी से 11 जनवरी 2019 तक रोजाना कोई न कोई आश्चर्यजनक घोषणाएं करेगी. ऐसे में कंपनी ने बीते दो दिन में अपने दो स्मार्टफोन के दाम में कटौती की है.
स्रोत: News18 India - 🏆 21. / 51 और पढो »

नागरिकता विधेयक: क्यों बरपा है पूर्वोत्तर में हंगामानया विधेयक नागरिकता कानून 1955 में संशोधन के लिए लाया गया है। यह विधेयक कानून बनने के बाद, अफगानिस्तान, बांग्लादेश और पाकिस्तान के हिंदू, सिख, बौद्ध, जैन, पारसी और ईसाई धर्म के मानने वाले अल्पसंख्यक समुदाय को 12 साल के बजाय छह साल भारत में गुजारने पर और बिना उचित दस्तावेजों के भी भारतीय नागरिकता प्रदान करेगा। भाजपा ने 2014 के चुनाव में इसका वादा किया था। कांग्रेस, तृणमूल कांग्रेस, माकपा समेत कुछ अन्य पार्टियां लगातार इस विधेयक का विरोध कर रही हैं। उनका दावा है कि धर्म के आधार पर नागरिकता नहीं दी जा सकती है, क्योंकि भारत एक धर्मनिरपेक्ष देश है। विपक्षी पाटिर्यों के कुछ सदस्यों ने रिपोर्ट में असहमति जताई है। भाजपा की सहयोगी, शिवसेना और जद (एकी) भी इसके विरोध में हैं।
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बदलते दृश्यबदलते जमाने के साथ बहुत कुछ बदल जाता है। समय का चक्र इंसान को बदलने में अहम भूमिका निभाता है, जिसका अहसास समय के साथ-साथ होता रहता है। वक्त के मुताबिक इंसान जिंदगी में अपने रहन-सहन के साथ ही अपने पहनावे और मनोरंजन के साधनों में भी बदलाव देखता आया है। पिछली सदी के साठ या सत्तर के दशक में जिस तरह के मनोरंजन के साधन होते थे, वे आज के मनोरंजन के साधनों से बिल्कुल ही अलग होते जा रहे हैं।
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खबरदारः यूपी में गठबंधन और कांग्रेस यानी बिन फेरे हम तेरे? khabardar: Tejashwi meets Mayawati after SP,BSP alliance - khabardar AajTakउत्तर प्रदेश में राष्ट्रीय जनता दल के नेता तेजस्वी यादव ने बसपा अध्यक्ष मायावती से न सिर्फ मुलाकात की, बल्कि उनके पैर छूकर आशीर्वाद तक ले लिए. तेजस्वी ने समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव से भी मुलाकात की और उनके साथ मीडिया से रूबरू हुए. तेजस्वी मायावती-अखिलेश के साथ से गदगद दिखे और इसे 2019 में पीएम मोदी को हराने के फॉर्मूले की तरह पेश किया. लेकिन क्या बात सिर्फ इतनी सी है या फिर तेजस्वी का लखनऊ के सियासी गलियारों से पटना में बनने वाले विपक्ष के महागठबंधन के लिए कोई संदेश है? वैसे तो तेजस्वी ने आज कहा कि बिहार में कांग्रेस महागठबंधन में है, लेकिन उसकी हैसियत कितनी होगी यही असली सवाल है? कहने को तो ये देश के सबसे बड़े सियासी सूबे में मोदी के खिलाफ एक मजबूत गठबंधन के बन जाने की खुशी भर है, लेकिन आरजेडी नेता तेजस्वी यादव का पटना से लखनऊ दौड़े-भागे चले आना कांग्रेस के लिए बहुत सुहाने वाली तस्वीर तो नहीं ही है. देखें वीडियो. SwetaSinghAT उत्तर प्रदेश में कांग्रेस खुद एक छोटा दल है। SwetaSinghAT उत्तर प्रदेश मे कांग्रेस के साथ छोटे छोटे दल आ सकते है- प्रियंका चतुर्वेदी (कांग्रेस) अब इन गणितज्ञ को कौन समझाए .......उत्तर प्रदेश मे कांग्रेस खुद छोटा दल है! SwetaSinghAT very nice
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