जरूरत की खबर- उत्तर भारत हीट वेव की चपेट में:लेखक: संदीप सिंहमई के महीने में गर्मी ने अपना रंग दिखाना शुरू कर दिया है। बदन को जलाने वाली चिलचिलाती धूप और गर्म हवा के थपेड़ों में अब बाहर निकलना खतरे से खाली नहीं है।
हीट वेव की वजह से शरीर की एनर्जी कम होने लगती है। साथ ही हमारे पाचन तंत्र पर भी इसका बुरा असर पड़ता है। यही कारण है कि हजारों लोग हर साल हीट वेव की चपेट में आकर बीमार पड़ते हैं और दुनिया भर में सैकड़ों लोगों की मौत भी हो जाती है। विश्व स्वास्थ्य संगठन की एक रिपोर्ट के मुताबिक 1998 से लेकर 2017 के बीच पूरी दुनिया में हीट वेव के कारण एक लाख 66 हजार लोगों की मौत हुई। WHO की यह रिपोर्ट कहती है कि इतना खतरनाक होने के बावजूद हीट वेव को ह्यूमन हेल्थ के लिए एक खतरे की तरह नहीं देखा जाता।सवाल- गर्मी की वजह से बीमारियां होने का कारण क्या है?एक स्वस्थ व्यक्ति के शरीर का सामान्य टेम्प्रेचर 37 डिग्री सेल्सियस होता है। शरीर के सुचारू रूप से चलने के लिए एक औसत तापमान मेन्टेन करना जरूरी है। लेकिन गर्मियों के मौसम में या हीट वेव चलने पर...
गर्मियों में ऐसी चीजें खानी चाहिए, जो शरीर को अंदर से ठंडक दें। साथ ही शरीर को हाइड्रेटेड रखने में भी मदद करें।
Effects Of Heat Waves On Health Heat-Related Illnesses And Diseases Heat Wave Health Concerns
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