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पाक का उदाहरण देकर पढ़ाई अंग्रेजी तो मच गया हड़कंप, खतरे में शिक्षिका की नौकरी

अमर उजाला नेटवर्क, गोरखपुर Published by: दुष्यंत शर्मा Updated Sat, 23 May 2020 09:35 PM IST
सार

  • कक्षा चार-ए की क्लास टीचर शादाब खानम ने यह अजीबोगरीब हरकत की है
  • उदाहरण इस कदर आपत्तिजनक हैं कि इसे पाकिस्तान के पक्ष में बच्चों का ब्रेनवाश करने की साजिश माना जा रहा है
  • इस पाठ्य  सामग्री से भड़के अभिभावकों के कड़े रुख के बाद प्रबंधन ने कहा कि शिक्षिका को बर्खास्त किया जाएगा

English teaching by example of Pakistan created a stir gorakhpur
सांकेतिक तस्वीर - फोटो : social media
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विस्तार
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जीएन नेशनल पब्लिक स्कूल की ऑनलाइन क्लास में नाउन समझाने के लिए व्हाट्एसएप ग्रुप में पोस्ट पाठ्य सामग्री में पाकिस्तान के महिमा मंडन  वाले कई उदाहरण दिए गए हैं। कक्षा चार-ए की क्लास टीचर शादाब खानम ने यह अजीबोगरीब हरकत की है। उदाहरण इस कदर आपत्तिजनक हैं कि इसे पाकिस्तान के पक्ष में बच्चों का ब्रेनवाश करने की साजिश माना जा रहा है। 



इस पाठ्य  सामग्री से भड़के अभिभावकों के कड़े रुख के बाद प्रबंधन ने कहा कि शिक्षिका को बर्खास्त किया जाएगा। शिक्षिका बड़ी मासूमियत से इसे गलती से किया गया कृत्य बता रहीं हैं। दरअसल, लॉकडाउन और कोरोना संकट के बीच शहर के  पब्लिक स्कूलों में ऑनलाइन पढ़ाई कराई जा रही है। इसके लिए व्हाट्सएप या  फिर वेबकास्ट ग्रुप बने हैं। शुक्रवार को जीएन नेशनल पब्लिक स्कूल के कक्षा  चार-ए के बच्चों को व्हाट्एसएप ग्रुप से ऑनलाइन अंग्रेजी पढ़ाई गई। 


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शिक्षिका शादाब खानम ने नाउन का मतलब समझाने के लिए पोस्ट डाले। कुछ देर  में ही यह पोस्ट सोशल मीडिया पर वायरल हुआ तो सनसनी फैल गई। पता चला कि अंग्रेजी की शिक्षिका व क्लास टीचर शादाब खानम ने पाकिस्तान के अलग-अलग  तथ्यों का उदाहरण देकर नाउन का मतलब समझाया था। शिक्षिका ने अपने मोबाइल नंबर से व्हाट्स एप ग्रुप पर जो पीडीएफ फाइल उपलब्ध कराई थी, उसमें  पाकिस्तान से संबंधित तीन अलग-अलग तथ्य थे। 
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एक में पाकिस्तानी आर्मी (I will join pak army) ज्वाइन करने का तथ्य था तो दूसरे में पाकिस्तान हमारी मातृभूमि (Pakistan is our dear homeland) बताया गया। तीसरे उदाहरण में पाकिस्तानी पायलट राशिद मिन्हास (Rashid minhas was a brave soldier) की बहादुरी का जिक्र था।

पीडीएफ फाइल जैसे ही अभिभावकों के हाथ लगी, वैसे ही हंगामा खड़ा हो गया। अभिभावकों ने इस मामले की व्हाट्स एप पर ही लिखित शिकायत स्कूल प्रबंधन से की और बच्चों पर राष्ट्रविरोधी मानसिकता थोपने का आरोप लगाया। अभिभावकों का आरोप है कि बच्चों में राष्ट्रभक्ति का भाव नहीं पैदा किया जा रहा है,  बल्कि अंग्रेजी के नाउन को पढ़ाने के जरिए पाकिस्तान के पक्ष में बच्चों का  ब्रेनवाश किया जा रहा है। 
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बच्चों का मन बेहद कोमल होता है। ऐसे में उनके  अंदर राष्ट्र विरोधी मानसिकता पैदा करने का कुत्सित प्रयास किया गया है। यह  कृत्य राष्ट्रद्रोह की श्रेणी में आता है। शिक्षिका को गिरफ्तार करके जेल भेजा जाना चाहिए। ऐसी शिक्षिका का विद्यालय में बने रहना बच्चों के भविष्य के ठीक नहीं हैं। बच्चों के व्हाट्स एप ग्रुप की एडमिन शादाब खानम ही हैं।  इस ग्रुप में 40-50 बच्चे जुड़े हैं।

सामान्य मामला नहीं, जांच जरूरी

English teaching by example of Pakistan created a stir gorakhpur
शिक्षा
ऑनलाइन पढ़ाई हुई तो शादाब खानम के पाकिस्तान के महिमा मंडन का भेद खुल गया। शिक्षिका भले ही मासूमियत से गलती स्वीकार कर रही हैं, लेकिन इसे सामान्य मामला नहीं माना जा सकता है। इसकी गहराई से जांच जरूरी है। देखा जाना चाहिए कि ऑफलाइन पढ़ाई के दौरान शिक्षिका के पठन-पाठन का काम कैसा था  ? कहीं बच्चों के ब्रेनवाश का सिलसिला बहुत पहले से तो नहीं चल रहा था? अभिभावक भी इसकी मांग कर रहे हैं। उनका कहना है कि इस घटना के पीछे बड़ी साजिश हो सकती है।
किसी व्यक्ति की योग्यता देखकर उसे विद्यालय परिवार का हिस्सा बनाया जाता  है। उनके मन में क्या चल रहा है, ये पता लगा पाना बेहद मुश्किल है।  शिक्षिका ने व्हाट्सएप गुप पर भ्रामक उदाहरण डाला था, इसकी शिकायत मिली थी। छानबीन में मामला सही मिला है। शिक्षिका गलती भी मान रही हैं, लेकिन इससे  गलत काम सहीं नहीं हो जाता है। शिक्षिका को तत्काल नोटिस जारी किया गया है।  बच्चों के कोमल मन में जहर घोलने वाले किसी शिक्षक के लिए विद्यालय में कोई  जगह नहीं है। उनका जितना वेतन बनेगा, उसका भुगतान करके स्कूल से बर्खास्त किया जाएगा। यह कार्रवाई दूसरे शिक्षकों के लिए नजीर बनेगी। -गोरख सिंह, डायरेक्टर जीएन नेशनल स्कूल
 
पढ़ाई के लिए अध्ययन सामग्री और उदाहरण को इंटरनेट से कॉपी करके बच्चों के लिए व्हाट्स एप ग्रुप पर डाल दिया था। सिर्फ मानवीय भूल के चलते ऐसा हुआ। मेरी मंशा बच्चों के मन में राष्ट्र विरोधी मानसिकता को बढ़ाने की नहीं थी और न कभी रहेगी। यहीं पैदा हुई, यहीं पली बढ़ी हूं। भारतीय होने पर गर्व  है। 11 साल से स्कूल में पढ़ा रही हूं। उदाहरण के लिए अध्ययन सामग्री को कॉपी करके डाला जरूर, लेकिन उसे नहीं देख सकी। यही सबसे बड़ी गलती थी।  क्लास के लिए लेट हो रहा था। व्हाट्स एप ग्रुप पर सबसे माफी मांग ली है। -शादाब खानम, शिक्षिका
 
यह मामला बेहद गंभीर है। प्रबंधक से जवाब मांगा जाएगा। पूछा जाएगा कि जब शिक्षिका का पाकिस्तान प्रेम उभर रहा था तो वे या उनके प्रिंसिपल क्या कर रहे थे? प्रबंधक का जवाब मिलने के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी। जरूरत पड़ी तो वैधानिक कार्रवाई भी होगी। 
-ज्ञानेंद्र प्रताप सिंह भदौरिया, डीआईओएस गोरखपुर
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