शरद पवार की डिमांड, बिरसा मुंडा की जयंती पर छुट्टी का हो ऐलान
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शरद पवार की डिमांड, बिरसा मुंडा की जयंती पर छुट्टी का हो ऐलान

शरद पवार (Sharad Pawar) ने मांग की है कि बिरसा मुंडा की जयंती 15 नवंबर को सरकारी छुट्टी घोषित की जाए. ये देश के मूल निवासी है. उन्हें देश और संयुक्त राष्ट्र में मूल निवासी घोषित किए जाने की मांग की जाना चाहिए. DBT बंद कर पहले जो योजना चल रही थी उसे दोबारा चालू किया जाए. आदिवासियों को उनका अधिकार दिया जाए. आदिवासियों के नाम पर सरकारी लाभ लेने वाले गैर आदिवासियों के खिलाफ कानून बनाया जाए.

एनसीपी प्रमुख शरद पवार ने बिरसा मुंडा की जयंती पर रखी मांग.

नागपुर: राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) अध्यक्ष शरद पवार (Sharad Pawar) ने शुक्रवार को कहा कि प्रस्तावित शिवसेना-एनसीपी-कांग्रेस सरकार का गठन जल्द होगा और यह अपना कार्यकाल पूरा करेगी. यहां पत्रकारों से बात करते हुए उन्होंने राज्य में मध्यावधि चुनाव की संभावना को खारिज कर दिया. राज्य में अभी राष्ट्रपति शासन लागू है. पवार ने कहा, 'तीनों पार्टियां गंभीरता से राज्य में स्थिर सरकार चाहती हैं जो न्यूनतम साझा कार्यक्रम के तहत राज्य की प्रगति और विकास पर टिकी होगी.' उन्होंने कहा कि मौजूदा समय में तीनों पार्टियां लगातार वार्ता कर अपने न्यूनतम साझा कार्यक्रम तैयार कर रही है और अंतिम रोडमैप उसके बाद ही तैयार होगा.

शरद पवार (Sharad Pawar) ने कहा कि आदिवासियों और नागपुर का गहरा नाता है. नागपुर के विकास में आदिवासियो की अहम भूमिका रही है. पिछले अनेक वर्षों से जंगल और पिछले इलाकों में रहने वाले युवकों को बिरसा मुंडा के नाम पर सगंठित करने का काम हुआ है. ये आनंद की बात है. देश को आज़ादी मिले कितने साल हो गए. महात्मा गांदी, नेहरू, इंदिरा गांधी ने देश को आगे ले जाने के लिए काम किया. बाबासाहेब अंबेडकर ने संविधान के जरिए एक करने का काम किया.

उन्होंने कहा कि देश ने कई मामलों में तरक्की की है, लेकिन समाज का एक वर्ग ऐसा भी है जिसे फायदा नहीं मिला है. इस पर गौर किए जाने की जरूरत है. आज़ादी तो मिल गई, लेकिन इसका लाभा आदिवासियों को कितना मिला है. आज गरीबी की रेखा से नीचे जीवनयापन करने वालों में सबसे ज्यादा आदिवासी लोग हैं. कई क्षेत्रों में आदिवासी विकास के मार्ग पर पीछे हैं. इस पर ध्यान देने की जरूरत है. उनकी शिक्षा पर जोर दिए जाने की जरूरत है. 

शरद पवार (Sharad Pawar) ने मांग की है कि बिरसा मुंडा की जयंती 15 नवंबर को सरकारी छुट्टी घोषित की जाए. ये देश के मूल निवासी है. उन्हें देश और संयुक्त राष्ट्र में मूल निवासी घोषित किए जाने की मांग की जाना चाहिए. DBT बंद कर पहले जो योजना चल रही थी उसे दोबारा चालू किया जाए. आदिवासियों को उनका अधिकार दिया जाए. आदिवासियों के नाम पर सरकारी लाभ लेने वाले गैर आदिवासियों के खिलाफ कानून बनाया जाए.

इससे पहले शरद पवार (Sharad Pawar) ने इन खबरों को खारिज कर दिया कि सरकार बनाने को लेकर उनकी भारतीय जनता पार्टी से किसी तरह की बातचीत हुई है या इस मामले में कुछ कॉरपोरेट घरानों का दबाव है.

पवार ने कहा, 'हम केवल कांग्रेस, शिवसेना और गठबंधन के अन्य साथियों के साथ वार्ता कर रहे हैं. इसके अलावा कुछ नहीं, तीनों पार्टियों के प्रतिनिधि न्यूनतम साझा कार्यक्रम मसौदे को अंतिम रूप देने के लिए मुलाकात कर रहे हैं.'

यह पूछे जाने पर कि क्या शिवसेना अपने हिंदुत्व एंजेंडे और उसी तरह कांग्रेस-एनसीपी अपने धर्मनिरपेक्ष विचारधार के साथ समझौता करेगी, इस पर उन्होंने कहा कि कांग्रेस-एनसीपी ने हमेशा धर्मनिरपेक्षता की बात की है, 'लेकिन इसका मतलब यह नहीं है कि हम किसी के विरुद्ध हैं.'

सत्ता-साझेदारी और मुख्यमंत्री पद को लेकर पूछे गए सवाल में उन्होंने कहा कि एक बार न्यूनतम साझा कार्यक्रम तैयार हो जाए और इसे सभी के द्वारा स्वीकार कर लिया जाए, उसके बाद सबकुछ तय हो जाएगा.

उम्मीद है कि पवार रविवार को नई दिल्ली में कांग्रेस की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी से मुलाकात करेंगे और यहां शिवसेना से हुई बातचीत से उन्हें अवगत कराएंगे और आगे की रणनीति पर चर्चा करेंगे.

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