Baba Jan Gligit Baltistan: गिलगित-बाल्टिस्तान की जनता के विरोध के आगे झुकते हुए पाकिस्तान की इमरान खान सरकार ने राजनीतिक कार्यकर्ता बाबा जान को रिहा कर दिया है। बाबा जान चीनी कंपनियों का विरोध करने पर 9 साल से जेल में बंद थे।पाकिस्तान सरकार ने गिलगित-बाल्टिस्तान के नेता बाबा जान को रिहा कियाहुंजा में चीनी कंपनियों को मार्बल खदान के आवंटन का किया था विरोधपाकिस्तान अधिकृत कश्मीर के गिलगित-बाल्टिस्तान के नेता बाबा जान को रिहा करने के लिए जोरदार विरोध प्रदर्शनों के आगे घुटने टेकते हुए...
चीनी कंपनियों को अवैध तरीके से खदान सौंपने का विरोध करने पर राजनीतिक कार्यकर्ता बाबा जान के खिलाफ मामला दर्ज किया गया था। पिछले करीब 9 साल से बाबा जान को रिहा करने के लिए पीओके में जोरदार विरोध प्रदर्शन चल रहा था। बताया जा रहा है कि बाबा जान काफी समय से बीमार भी चल रहे थे। हालांकि आईएसआई और सेना की शह पर उन्हें रिहा नहीं किया जा रहा था। यही नहीं जेल के अंदर उन्हें टॉर्चर भी किया गया।
जानकारी के मुताबिक चीनी कंपनियों के विरोध के अलावा बाबा जान पर एक अन्य आरोप लगा था। वर्ष 2010 में जलवायु परिवर्तन की वजह से गिलगित-बाल्टिस्तान की हुंजा नदी के पास लैंडस्लाइड हुआ था। इस घटना की वजह से ऐटाबाद झील का निर्माण तो हुआ लेकिन हजारों गांववालों को अपने घरों से हाथ धोना पड़ा। लैंडस्लाइड इतना भयानक था कि गिलगित-बाल्टिस्तान को बाकी पाकिस्तान से जोड़नेवाले हाइवे को भी नुकसान पहुंचा था, जिसकी वजह से गांववालों को मदद मिलने में भी दिक्कत हो रही थी।इस वक्त लोगों की मदद के लिए बाबा जान आगे आए और...
लेकिन तब सरकार ने प्रदर्शनकारियों को रोकने के लिए हिंसा का प्रयोग शुरू कर दिया और बाबा जान के साथ के कुछ लोग मारे पीटे भी गए। इसके बाद बाबा जान को गिरफ्तार कर लिया गया। इनमें से 5 लोगों को रिहा नहीं किया गया था। इसमें बाबा जान भी शामिल थे। उसके बाद से खबरें आती रहती थीं कि जेल में बाबा जान और बाकी साथियों के साथ कठोर व्यवहार किया जाता है। उनको टॉर्चर किया जाता है। बाबा जान को पाकिस्तान के आतंक रोधी ऐक्ट के तहत पकड़े जाने का भी विरोध होता है। लोगों का कहना था कि सरकार इस ऐक्ट का गलत इस्तेमाल...
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