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- CMD Atul Sobti Said BHEL Will Also Work To Make Bullet Train And Military Equipment
सीएमडी अतुल सोबती ने कहा- बुलेट ट्रेन और सेना के उपकरण बनाने के काम भी करेगा भेल
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- हाई स्पीड बुलेट ट्रेन निर्माण के लिए जापान की कावासाकी के साथ समझौता
- रेलवे 30 हजार किमी इलेक्ट्रिफिकेशन कर रहा है, ज्यादातर आर्डर भेल को मिलेंगे
आनंद सक्सेना । भोपाल. भेल अब कोयला आधारित प्रोजेक्ट छोड़ कर दूसरे नए सेक्टर्स में कदम रख रही है। इसमें हाईस्पीड रेल प्रोजेक्ट बुलेट ट्रेन भी शामिल है। इसके लिए जापान की कंपनी के साथ समझौता किया है। सेना और बुलेट ट्रेन के उपकरणों के निर्माण के लिए भोपाल को प्राथमिकता दी जाएगी। ये बात पत्रकारों से चर्चा में भेल के प्रबंध निदेशक और अध्यक्ष अतुल सोबती ने मंगलवार को कही। उन्होंने कहा कि भेल अब पुराने ढर्रे पर नहीं चलना चाहती है, इसलिए नए संभावनाओं की तलाश कर रही है।
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सीएमडी सोबती ने कहा, \'बुलेट ट्रेन और मेट्रो के लिए अभी ऑर्डर आना बाकी हैं, क्योंकि जापान की कॉवासाकी कंपनी से समझौता होने के बाद टेंडर प्रक्रिया होना है।\'
सीएमडी सोबती ने कहा, \"भेल इकोनॉमी के सभी सेक्टर में काम कर रही है। रिन्यूअल एनर्जी, डिफेंस, ट्रांसमिशन। अगर मैं कुछ उदाहरण दूं तो कहीं पांच बल्व जल रहे हैं तो इसमें तीन बल्व भेल के सप्लाई डिपो में बने हैं। भारतीय रेलवे बहुत बड़े प्रोजेक्ट पर काम कर रही है, इसमें 30 हजार किमी इलेक्ट्रिफिकेशन भी शामिल है। इसमें ज्यादातर आर्डर भेल को मिलेंगे।\"
युवाओं को प्रेरणा देगी प्रगति दीर्घा
भेल के प्रबंध निदेशक और अध्यक्ष अतुल सोबती ने पिपलानी स्थित प्रगति दीर्घा का लोकार्पण किया। उन्होंने ने कहा भेल देश के विकास में हमेशा से सहयोग करती रही है। हमने रेलवे के अंदर काम किया, डिफेंस में काम कर रहे हैं। जब देश के लिए इतना काम किया है। इसलिए इस जानकारी को एक जगह इकट्ठा करने का फैसला किया गया। युवा पीढ़ी को भेल की प्रगति दीर्घा में सीख मिलेगी।
मेट्रो बोगी के आर्डर भी जल्दी मिलेंगे
उम्मीद है कि भेल को सेना के उपकरणों के साथ ही मेट्रो बोगी के आर्डर जल्दी मिलेंगे। इसमें भोपाल यूनिट का एक बड़ा योगदान रहेगा। मेट्रो बोगी के लिए भोपाल में जगह निर्धारित कर दी है साथ ही भेल के द्वारा युवाओं की तरफ भी ध्यान दिया जा रहा है। जिससे राष्ट्र निर्माण में योगदान दे सकें। प्रगति दीर्घा को इंजीनियरिंग कॉलेज के छात्रों के लिए खुली रहेगी।
क्या है प्रगति दीर्घा में
- इस प्रगति दीर्घा में देशभर में मौजूद भेल की सभी यूनिटों में बन रही मशीनों को मॉडल के रूप में रखे गए हैं।
- प्रगति दीर्घा के बाहर देश का सबसे बड़ा ट्रांसफार्मर रखा गया है।
- पॉवर प्रोजेक्ट में उपयोग आने वाले टरबाइन, देश के सबसे बड़े हाई पावर ट्रांसफार्मर, रेल इंजन में लगने वालीं ट्रेक्शन मोटर, रेलवे के लोको इंजन, सोलर पैनल प्लांट सीएनसी मशीनें के मॉडल मौजूद हैं।
- प्रगति दीर्घा में इसके साथ ही समय-समय पर प्रदर्शनी भी लगी है। वहीं विभिन्न इंजीनियरिंग कॉलेजो के दीर्घा में आने वाले छात्रों को भेल से संबंधित सभी प्रकार की जानकारी देने के लिए स्टाफ मौजूद रहेगा।