माघ मेला प्रशासन से जुड़े एक अधिकारी ने बताया कि मेला क्षेत्र में बच्चे, बुज़ुर्ग समेत श्रद्धालु सुबह से ही लगातार आ रहे थे. दोपहर दो बजे तक करीब 3 लाख लोगों ने गंगा में स्नान किया है.
इससे पहले शुक्रवार को मकर संक्रांति के पर्व पर करीब 6.5 लाख लोगों ने प्रयागराज गंगा में डुबकी लगाई थी. कोरोना वायरस के बढ़ते संक्रमण को लेकर यहाँ सावधानी बरती जा रही है. कुल 25 कोविड हेल्प डेस्क बनाए गए हैं. साथ ही आधिकारिक आंकड़ों के मुताबिक़, शनिवार दोपहर 12 बजे तक मेला में करीब 1,25,00 मास्क बांटे गए. ऐसे वक्त में जब कोरोना संक्रमण के मामलों में इज़ाफा हो रहा है, माघ मेला आयोजित करना प्रशासन के लिए बड़ी चुनौती है.
यहाँ तक कि मेला ड्यूटी पर जिन पुलिसकर्मियों की ड्यूटी लगाई गई थी उनमें से कई कोरोना वायरस पॉजिटिव निकले हैं. प्रयागराज ज़िला प्रशासन ने पहले ही ये घोषणा कर दी है कि मेला में आने वाले सभी लोगों के लिए निगेटिव आरटीपीसीआर रिपोर्ट ज़रूरी है. ये रिपोर्ट 48 घंटे पुरानी नहीं होनी चाहिए. ये भी कहा गया है कि वैक्सीनेशन सर्टिफिकेट के साथ भी आएं और कोविड नियमों का पालन करें. तैयारियों की बात करें तो 50 बेड के दो अस्पताल, 12 हेल्थ कैंप और 10 इलाज केंद्र मेला क्षेत्र में बनाए गए हैं.केंद्र भी स्थापित किए गए हैं.
School college bahut hain unki subidha aur responsibility Tay honi chahiye
Ppl have completely forgotten the floating dead bodies in Ganga. 🥺
कोरोना की ऐसी की तैसी!😜
क्या देश के मंदिरों मस्जिदों और गिरजाघरों की संपत्तियाँ बेच कर स्कूल कॉलेज और अस्पताल बनाने चाहिए…?
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