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Mann Ki Baat: पीएम मोदी बोले- त्योहारों पर लोकल खरीदिए, किसी गरीब के घर में रोशनी आएगी

कार्यक्रम का प्रसारण आकाशवाणी और दूरदर्शन के पूरे नेटवर्क और आकाशवाणी समाचार और मोबाइल एप पर भी किया जाएगा. पीएम मोदी ने हाल ही में ट्वीट कर बताया था कि 24 अक्टूबर को मन की बात कार्यक्रम के जरिए देश को संबोधित करेंगे. उन्होंने ट्वीट कर लोगों से विचार साझा करने के लिए कहा था.

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पीएम नरेंद्र मोदी (फाइल फोटो)
पीएम नरेंद्र मोदी (फाइल फोटो)
स्टोरी हाइलाइट्स
  • यह मन की बात का 82वां संस्करण
  • पीएम ने कोटि कोटि प्रणाम से अपने संबोधन की शुरुआत की

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को रेडियो कार्यक्रम मन की बात के जरिए लोगों को संबोधित किया. इस दौरान पीएम मोदी ने 100 करोड़ वैक्सीन डोज, इसमें हेल्थ वर्कर्स के योगदान, सरदार पटेल और बिरसा मुंडा की जयंती, संयुक्त राष्ट्र में भारत के योगदान, ड्रोन टेक्नोलॉजी, स्वच्छता, त्योहारों पर वोकल फॉर लोकल जैसे मुद्दों पर चर्चा की. 

वैक्सीन पर क्या बोले पीएम मोदी

पीएम ने कोटि कोटि प्रणाम से अपने संबोधन की शुरुआत की. इस दौरान पीएम मोदी ने बताया कि वे कोटि कोटि प्रणाम से इसलिए शुरुआत कर रहे हैं, क्यों कि 100 करोड़ वैक्सीन के बाद देश नए उत्साह नई ऊर्जा के साथ आगे बढ़ रहा है. 

पीएम मोदी ने कहा, हमारे वैक्सीन कार्यक्रम की सफलता, भारत के सामर्थ्य को दिखाती है, सबके प्रयास के मंत्र की शक्ति को दिखाती है. मैं अपने देश, अपने देश के लोगों की क्षमताओं से भली-भांति परिचित हूं. मैं जानता था कि हमारे हेल्थ वर्कर्स देशवासियों के टीकाकरण में कोई कोर-कसर नहीं छोड़ेंगे. 

पीएम मोदी ने कहा, 100 करोड़ वैक्सीन डोज का आंकड़ा बहुत बड़ा जरूर है. लेकिन इससे लाखों छोटी छोटी प्रेरक और गर्व से भर देने वाली अनेक अनुभव अनेक उदाहरण जुड़े हुए हैं. पीएम मोदी ने कहा, लाखों हेल्थ वर्कर्स के परिश्रम की वजह से ही भारत 100 करोड़ वैक्सीन डोज का पड़ाव पार कर सका है. आज मैं हर उस भारतवासी का आभार व्यक्त कर रहा हूं, जिसने 'सबको वैक्सीन मुफ्त वैक्सीन' अभियान को इतनी ऊंचाई दी. कामयाबी दी.  

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उत्तराखंड की हेल्थ वर्कर से की बात
इस दौरान पीएम मोदी ने पूनम नौटियाल से बात की. पूनम उत्तराखंड से हैं और हेल्थ वर्कर हैं. उन्होंने भारत के टीकाकरण को सफल बनाने में योगदान दिया है. 

लौहपुरुष को किया नमन 

पीएम मोदी ने कहा, अगले रविवार, 31 अक्तूबर को, सरदार पटेल जी की जन्म जयंती है. 'मन की बात' के हर श्रोता की तरफ से, और मेरी तरफ से, मैं, लौहपुरुष को नमन करता हूं. 

पीएम ने कहा, सरदार साहब कहते थे कि हम अपने एकजुट उद्यम से ही देश को नई महान ऊंचाई तक पहुंचा सकते हैं. अगर हममें एकता नहीं हुई, तो हम खुद को नई नई विपदाओं में फंसा देंगे. यानी राष्ट्रीय एकता है तो ऊंचाई है विकास है. हमारी आजादी का आंदोलन तो इसका सबसे बड़ा उदाहरण है. हम सभी का दायित्व है कि हम एकता का संदेश देने वाली किसी-ना-किसी गतिविधि से जरुर जुड़ें. 

'बिरसा मुंडा से हमें कई चीजें सीखने को मिलती है'

पीएम मोदी ने कहा, अगले साल भारत भगवना बिरसा मुंडा की जयंती मनाएगा. उनके जीवन से हमें कई चीजें सीखने को मिलती हैं, जैसे अपनी संस्कृति पर गर्व होना. पर्यावरण की देखभाल करना. भगवान बिरसा मुंडा ने जिस तरह से अपनी संस्कृति अपने जंगल और अपनी जमीन की रक्षा के लिए संघर्ष किया. वो धरती आबा ही कर सकते थे. उन्होंने हमें अपनी संस्कृति और जड़ों के प्रति गर्व करना सिखाया. प्रकृति और पर्यावरण से अगर हमें प्रेम करना सीखना है, तो उसके लिए भी धरती आबा भगवान बिरसा मुंडा हमारी बहुत बड़ी प्रेरणा है. 

संयुक्त राष्ट्र में भारत की अहम भूमिका

24 अक्टूबर को संयुक्त राष्ट्र दिवस मनाया जाता है. आज ही के दिन यूएन का गठन किया था. भारत ने आजादी से पहले यूएन के चार्टर पर हस्ताक्षर किए थे. भारत की नारी शक्ति ने संयुक्त राष्ट्र के प्रभाव और शक्ति को बढ़ाने में बड़ी भूमिका निभाई है. 1947-48 में जब यूएन ह्यूमन राइट्स का यूनिवर्सल डिक्लेरेशन तैयार हो रहा था. तो उस डिक्लेरेशन में लिखा जा रहा था कि ऑल मैन आर क्रिएटेड इक्वल. लेकिन भारत के एक प्रतिनिधिमंडल ने इस पर आपत्ति जताई. इसके बाद इसे ऑल ह्यूमन आर क्रिएटेड इक्वल लिखा गया. 

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भारत ने हमेशा शांति के लिए काम किया

मोदी ने कहा, भारत ने हमेशा विश्व शांति के लिए काम किया है. यह संयुक्त राष्ट्र शांति सेना में हमारे योगदान में देखा जाता है. भारत योग और स्वास्थ्य के पारंपरिक तरीकों को और अधिक लोकप्रिय बनाने के लिए भी काम कर रहा है. हमारे ग्रह को एक बेहतर जगह बनाने में भारत अहम भूमिका निभाएगा. एक धरती को एक बेहतर और सुरक्षित प्लानेट बनाने में भारत का योगदान विश्वभर के लिए बहुत बड़ी प्रेरणा है. हमें इस बात का गर्व है कि भारत 1950 के दशक से लगातार संयुक्त राष्ट्र शांति मिशन का हिस्सा रहा है. गरीबी हटाने, जलवायु परिवर्तन और श्रमिकों से संबंधित मुद्दों के समाधान में भी भारत अग्रणी भूमिका निभा रहा है. 

'ड्रोन टेक्नोलॉजी में अग्रणी देश बनना है'

भारत दुनिया के उन पहले देशों में से है, जो ड्रोन की मदद से अपने गांव में जमीन के डिजिटल रिकॉर्ड तैयार कर रहा है. भारत ड्रोन का इस्तेमाल, ट्रांसपोर्टेशन के लिए करने पर बहुत व्यापक तरीके से काम कर रहा है. चाहे गांव में खेतीबाड़ी हो या घर के सामान की डिलीवरी हो. आपातकाल में मदद पहुंचानी हो या कानून व्यवस्था की निगरानी हो. हमें ड्रोन टेक्नोलॉजी में अग्रणी देश बनना है. इसके लिए सरकार हर संभव कदम उठा रही है. 

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स्वच्छता पर की बात

पीएम मोदी ने कहा, स्वच्छता के प्रयास तभी पूरी तरह सफल होते हैं जब हर नागरिक स्वच्छता को अपनी जिम्मेदारी समझे. अभी दीपावली पर हम सब अपनी घर की साफ सफाई में तो जुटने ही वाले हैं. लेकिन इस दौरान हमें ध्यान रखना है कि हमारे घर के साथ हमारा आस-पड़ोस भी साफ रहे. उन्होंने कहा, मैं जब स्वच्छता की बात करता हूं तब कृपा करके सिंगल यूज प्लास्टिक से मुक्ति की बात हमें कभी भी भूलना नहीं है. तो आइये, हम संकल्प लें कि स्वच्छ भारत अभियान के उत्साह को कम नहीं होने देंगे. हम सब मिलकर अपने देश को पूरी तरह स्वच्छ बनाएंगे और स्वच्छ रखेंगे. 

यह मन की बात का 82वां संस्करण

यह मन की बात का 82वां संस्करण है. पीएम मोदी हर महीने के आखिरी रविवार को मन की बात के जरिए लोगों को संबोधित करते हैं. हालांकि, इस बार महीने के आखिरी दूसरे रविवार को कार्यक्रम का प्रसारण किया जा रहा है. 

पिछली मन की बात में इन मुद्दों पर की थी चर्चा

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पीएम मोदी ने पिछली मन की बात में रेन वाटर हार्वेस्टिंग के महत्व, नेशनल वाटर मिशन अभियान कैच द रेन से जल-जिलानी एकादशी और छठ पर्व से तुलना की थी. यह एपिसोड 26 सितंबर को प्रसारित किया गया था. इसमें पीएम मोदी ने विश्व नदी दिवस, नमामि गंगे जैसे मुद्दों पर चर्चा की थी. 


 

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