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गहलोत बचा लेंगे सरकार या पायलट पलटेंगे पासा, कुछ घंटे में साफ होगी राजस्थान की तस्वीर

राजस्थान की गहलोत सरकार खतरे में है. डिप्टी सीएम सचिन पायलट ने बगावती तेवर अपना लिया है. वहीं, पार्टी आलाकमान ने तीन नेताओं को दिल्ली से राजस्थान भेजने का फैसला किया है.

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राजस्थान के सीएम अशोक गहलोत और डिप्टी सीएम सचिन पायलट (फाइल फोटो)
राजस्थान के सीएम अशोक गहलोत और डिप्टी सीएम सचिन पायलट (फाइल फोटो)

  • राजस्थान में संकट, गहलोत-पायलट आमने-सामने
  • गहलोत खेमे ने किया 100 विधायकों के समर्थन का दावा
  • आज सुबह 10.30 बजे कांग्रेस विधायक दल की बैठक

राजस्थान में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और उपमुख्यमंत्री सचिन पायलट के बीच मतभेद के कारण सरकार पर खतरा मंडराने लगा है. राज्य में बिगड़ते सियासी हालात को देखते हुए कांग्रेस आलाकमान ने पार्टी के तीन नेताओं को जयपुर भेजा है. वहीं, सोमवार सुबह 10.30 कांग्रेस विधायक दल की बैठक होनी है. इसी बैठक पर सबकी निगाहें हैं क्योंकि यहीं से गहलोत सरकार का भविष्य तय होना है.

कांग्रेस विधायक दल की बैठक में सचिन पायलट शामिल नहीं होंगे. पायलट खेमे की ओर से दावा किया जा रहा है कि उनके समर्थन में 30 विधायक हैं. इधर, गहलोत खेमे ने 100 से अधिक विधायकों के समर्थन का दावा किया है. वहीं, बीजेपी की ओर से कहा जा रहा है कि वो सचिन पायलट के संपर्क में नहीं है. ये कांग्रेस का आंतरिक मामला है.

पायलट की जानकारी नहीं

सचिन पायलट के बारे में पूछे गए एक सवाल के जवाब में राजस्थान कांग्रेस प्रभारी अविनाश पांडेय ने कहा, क्या वे (पायलट) दिल्ली में हैं? मुझे इस बारे में कोई जानकारी नहीं है.

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कांग्रेस की प्रेस कॉन्फ्रेंस

जयपुर में मुख्यमंत्री आवास पर प्रेस वार्ता चल रही है. अविनाश पांडे, रणदीप सुरजेवाला और अजय माकन प्रेस वार्ता कर रहे हैं. अविनाश पांडे ने कहा कि सोनिया गांधी के निर्देशों पर जयपुर आए हैं. 109 विधायक के समर्थन पत्र की चिट्ठी मुख्यमंत्री को दे चुके हैं. कुछ अन्य विधायक भी संपर्क में हैं. सुबह 10 बजे कांग्रेस विधयाक दल की बैठक है. बैठक को लेकर व्हिप जारी किया गया है. जो बैठक में नहीं होंगे मौजूद, उनके खिलाफ अनुशासनात्मक करवाई की जाएगी.

व्हिप का उल्लंघन करने पर पार्टी की सदस्यता समाप्त हो सकती है.

विधायकों को व्हिप जारी

सोमवार सुबह विधायक दल की बैठक के लिए कांग्रेस पार्टी ने व्हिप जारी कर दिया है. अगर कोई भी कांग्रेस का विधायक बैठक में नहीं आता है तो उसकी सदस्यता जाएगी. कांग्रेस के प्रभारी महासचिव अविनाश पांडे ने कहा है कि 109 विधायकों का समर्थन पत्र मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के पास पहुंच गया है और वे सोमवार सुबह मीटिंग में आएंगे. बाकी लोग अगर नहीं आते हैं तो उनकी सदस्यता चली जाएगी. इस पूरे मामले पर बोलते हुए रणदीप सिंह सुरजेवाला ने कहा कि हम किसी व्यक्ति की बात नहीं कर रहे हैं, हमें नहीं लगता है कि कोई नहीं आएगा.

अमित शाह से मुलाकात कर सकते हैं सचिन पायलट

सूत्रों के मुताबकि, सचिन पायलट गृह मंत्री अमित शाह से मुलाकात कर सकते हैं. सोमवार सुबह सचिन पायलट बीजेपी अध्यक्ष जेपी नाड्डा से भी मुलाकात कर सकते हैं.

सचिन पायलट को झटका

सचिन पायलट के एक और साथी प्रशांत बैरवा मुख्यमंत्री अशोक गहलोत से मिलने पहुंचे हैं. प्रशांत बैरवा ने कहा कि सचिन पायलट का सम्मान करता हूं, लेकिन अगर वो बीजेपी में जाते हैं तो मैं उनके साथ नहीं जाऊंगा.

कांग्रेस के तीन नेता दिल्ली से जयपुर पहुंचे

कांग्रेस नेता रणदीप सुरजेवाला, अजय माकन और अविनाश पांडे जयपुर पहुंच गए हैं. वह मुख्यमंत्री निवास पहुंच चुके हैं. अविनाश पांडे ने कहा है कि वह सचिन पायलट से बातचीत करेंगे. अविनाश पांडे कांग्रेस के महासचिव हैं और राजस्थान के प्रभारी हैं. बता दें कि तीनों ही नेताओं को भेजने का फैसला कांग्रेस सोनिया गांधी ने लिया है.

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पायलट खेमे के विधायक दे सकते हैं इस्तीफा

सूत्रों के मुताबिक, कल सुबह होने वाली कांग्रेस विधायक दल की बैठक से पहले आज देर रात सचिन पायलट के खेमे के विधायक अपना इस्तीफा विधानसभा अध्यक्ष को भेज सकते हैं.

सचिन पायलट के तीन करीबी गहलोत के साथ

इससे पहले सचिन पायलट के दोस्त दानिश अबरार, चेतन डूडी और रोहित बोहरा मुख्यमंत्री निवास पहुंचे और यहां प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि हमारी आस्था मुख्यमंत्री अशोक गहलोत में है. हम लोग दिल्ली अपने व्यक्तिगत काम से गए थे.

तीनों ने कहा कि सचिन पायलट से पिछले दो दिनों में हमारी कोई बातचीत नहीं हुई है. इसे अशोक गहलोत की एक बड़ी सफलता माना जा रहा है क्योंकि यह तीनों विधायक सचिन पायलट के दोस्त हैं.

वहीं, सरकार पर लटकती तलवार को देखते हुए पार्टी अध्यक्ष सोनिया गांधी ने अजय माकन, रणदीप सुरजेवाला और अविनाश पांडे को जयपुर जाने के लिए कहा है. तीनों नेता कांग्रेस विधायकों से बात करेंगे. अजय माकन, रणदीप सुरजेवाला और अविनाश पांडे रविवार रात जयपुर के लिए रवाना होंगे.

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सिंधिया ने किया पायलट का समर्थन

उधर, कांग्रेस छोड़कर बीजेपी में आए ज्योतिरादित्य सिंधिया ने सचिन पायलट को रिझाने में लगे हैं. उन्होंने कहा कि सचिन पायलट को दरकिनार किए जाने से मैं दुखी हूं. ये दिखाता है कि कांग्रेस में काबिलियत और क्षमता की कोई अहमियत नहीं है. माना जा रहा है कि सिंधिया पुराने दोस्त सचिन पायलट को अपने पाले में लाने की जुगत में हैं.

खेल मंत्री ने अपने विधायकों को चेताया

गहलोत सरकार में खेल मंत्री अशोक चांदना ने कहा कि राजस्थान में हार्स ट्रेडिंग जारी है. उन्होंने अपने उन विधायकों को चेताया, जिन्हें बीजेपी से फोन आ रहे हैं. खेल मंत्री ने कहा कि मध्य प्रदेश में जो सियासी नाटक चला, उससे कांग्रेस के विधायकों सीखना चाहिए. मध्य प्रदेश में जिन विधायकों ने कांग्रेस पार्टी छोड़ी, उन्हें चार महीनों के लिए दरकिनार कर दिया गया था. अब जब उपचुनाव नजदीक है तो उन्हें मंत्री बनाया गया. पार्टी छोड़ने के बाद उनकी क्या दुर्गति हुई, उससे राजस्थान के कांग्रेस विधायकों को सीखने की जरूरत है.

सोनिया गांधी का कांग्रेस के तीन नेताओं को जयपुर भेजने का फैसला

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सिब्बल ने जताई चिंता

राजस्थान में कांग्रेस के संकट पर वरिष्ठ कांग्रेसी नेता कपिल सिब्बल ने चिंता जताई. सिब्बल ने कहा कि हम कब जागेंगे? उन्होंने कहा कि क्या हम तब जागेंगे जब हमारे घोड़े अस्तबल से निकल चुके होंगे.

क्यों मचा सियासी घमासान?

बता दें कि विधायकों की खरीद फरोख्त मामले में राजस्थान पुलिस के स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप (SOG) की तरफ से डिप्टी सीएम सचिन पायलट को नोटिस भेजे जाने को लेकर उनके खेमे में नाराजगी है. पायलट खेमे का कहना है कि डिप्टी सीएम से पूछताछ के लिए एसओजी का नोटिस स्वीकार्य नहीं है. आरोप है कि गहलोत खेमा सचिन पायलट को बदनाम करना चाहता है. हालांकि इस मसले को लेकर सीएम गहलोत ने सफाई दे दी थी.

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