scorecardresearch
 

e-एजेंडा: 7500 रुपये का कांग्रेसी नारा जनता चुनाव में नकार चुकी है-शाह

आजतक के e-एजेंडा कार्यक्रम में गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि कांग्रेस को यह समझना चाहिए कि गरीबों को पैसा देने का उनका नारा जनता नकार चुकी है. यह उनका पुराना तरीका है. उन्होंने गरीबी हटाओ का नारा दिया था. वे यह चाहते हैं कि गरीब हमेशा गरीब ही रहे.

Advertisement
X
आजतक के e-एजेंडा कार्यक्रम में शामिल हुए गृहमंत्री अमित शाह
आजतक के e-एजेंडा कार्यक्रम में शामिल हुए गृहमंत्री अमित शाह

  • आजतक के e-एजेंडा में शामिल हुए गृह मंत्री अमित शाह
  • उन्होंने मोदी सरकार के एक साल की उपलब्धियों पर की बात
  • उन्होंने कोरोना के लिए सरकारी उपायों की जानकारी भी दी

गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि लोगों के हाथ में सीधे पैसा देने का कांग्रेसी नारा जनता चुनावों में नकार चुकी है, इसलिए कांग्रेस और राहुल या सोनिया गांधी को बार,बार ऐसी बातें नहीं करनी चाहिए. आजतक के e-एजेंडा कार्यक्रम में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने यह बात कही.

गृह मंत्री अमित शाह से जब यह सवाल किया गया कि कांग्रेस लगातार यह मांग कर रही है कि करीब 7,500 रुपये हर गरीब के एकाउंट में सीधे पहुंचाया जाए, तो उन्होंने कहा, 'कांग्रेस को यह समझना चाहिए कि गरीबों को पैसा देने का उनका नारा जनता नकार चुकी है. यह उनका पुराना तरीका है. उन्होंने गरीबी हटाओ का नारा दिया था. वे यह चाहते हैं कि गरीब हमेशा गरीब ही रहे.'

कांग्रेस गरीबों के एकाउंट मे सीधे रकम डालने की बात कर रही है. ऐसी व्यवस्था पहले सरकार क्यों नहीं करती कि दाल-रोटी मिल जाए. आपने ऐसा अप्रोच अपनाया जिसका असर देर से होगा? इस सवाल पर गृह मंत्री ने कहा, 'हमने राशन कार्ड पर 80 करोड़ लोगों को तीन महीने एक्स्ट्रा अनाज दिया है. बहुत सारी आपदाएं कांग्रेस के समय आईं, कांग्रेस अध्यक्ष इसका हिसाब दें कि कितना गरीबों के खाते में डाला? हम तो 53,000 करोड़ डाल चुके,सबको राशन दिया, छोटे उद्यमों को लोन के लिए पीएम मोदी गारंटर बने हैं, अब उन्हें लोन लेने में दिक्कत नहीं होगी.'

Advertisement

कांग्रेस ने गरीबों के खाते में कितनी रकम डाली?

उन्होंने कहा, 'जहां तक 7,500 रुपये खाते में डालने की बात है. इस मुद्दे पर तो चुनाव हार चुकी है कांग्रेस. कांग्रेस तो नारा लेकर निकली थी, लेकिन देश की जनता ने रिजेक्ट कर दिया. देश की जनता को समझ में आता है कि 7,500 का नारा चुनावी नारा है. इंदिरा जी गरीबी हटाओ का नारा लेकर आईं थी, लेकिन गरीबी हटी नहीं. मोदी जी ने गरीबों को शौचालय दी, बिजली दी, बैंक का एकाउंट दिया, मकान दिया, स्वास्थ्य के लिए 5 लाख रुपये तक की व्यवस्था की, किसानों को 6000 रुपये एकाउंट में दिया, बीमा दिया. कांग्रेस ने क्या कर दिया 58 साल में? गरीब तो गरीब ही रह गया.

कोरोना पर फुल कवरेज के लि‍ए यहां क्ल‍िक करें

क्या थी कांग्रेस की मांग

गौरतलब है कि कांग्रेस नेता सोनिया गांधी, राहुल गांधी और कांग्रेस के कई नेता लगातार यह कहते रहे हैं कि कोरोना संकट से परेशान गरीबों के खाते में सीधे 6500 से 7500 रुपये भेजे जाएं. इस गुरुवार को भी कांग्रेस ने यह मांग की थी कि गरीबों के खाते में 7500 रुपये डाले जाएं. राहुल गांधी ने कहा था, 'मुश्किल के इस समय में कांग्रेस पार्टी सरकार से मांग करती है कि हर गरीब परिवार के खाते में 7500 रुपये प्रति महीना 6 महीने तक दिया जाए.'

कोरोना कमांडोज़ का हौसला बढ़ाएं और उन्हें शुक्रिया कहें...

क्या कहा गृह मंत्री ने

गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में बीते 6 साल से देश आगे बढ़ रहा है. साल 2014 में तीन बिंदुओं पर काम शुरू किया गया. सबसे पहले 60 करोड़ गरीबों के जीवन स्तर को बेहतर बनाने के लिए काम शुरू किया गया, दूसरा देश के अर्थतंत्र को मजबूत करने के लिए 5 ट्रिलियन डॉलर का लक्ष्य रखा गया और तीसरा देश की आतंरिक और बाहरी सुरक्षा को मजबूत करने पर बल दिया गया.

Advertisement

Advertisement
Advertisement