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अमेरिकी बाजारों से चीन की कंपनियों को निकालने के लिए विधेयक पास, अलीबाबा ग्रुप को खतरा

वर्ल्ड डेस्क, अमर उजाला Published by: Rohit Ojha Updated Thu, 21 May 2020 07:00 PM IST
America Senate Passes Bill to Delist Chinese Companies From Exchanges
डोनाल्ड ट्रंप-शी जिनपिंग
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अमेरिका चीन पर लगाम कसने की पूरी तैयारी में है। बुधवार को अमेरिकी संसद के एक सदन सीनेट में एक विधेयक पारित हुआ, जिसके अनुसार अलीबाबा ग्रुप होल्डिंग लिमिटेड और बैदू इंक जैसी चीन की कंपनियों को अमेरिकी शेयर बाजारों में प्रतिबंधित किया जा सकता है। अमेरिका की दोनों प्रमुख राजनीतिक पार्टियां (रिपब्लिकन और डेमोक्रैट) इस विधेयक के समर्थन में हैं, इसलिए ऐसे विधेयक को बाइपार्टिसन विधेक कहा जाता है।



चीन की कंपनियों पर अमेरिकी बाजारों में नकेल कसने के लिए इस विधेयक को लुसियाना के रिपब्लिकन सीनेटर जॉन केनेडी और मैरीलैंड के डेमोक्रैट सीनेटर क्रिस वान हौलेन ने सीनेट में पेश किया था। सदन में विधेयक सर्वसम्मति से में पारित हो गया। विधेयक के प्रावधानों के मुताबिक कंपनियों को यह प्रमाणित करना होगा कि वे किसी विदेशी सरकार के नियंत्रण में नहीं हैं। हालांकि इसे लागू होने में अभी थोड़ा कानूनी दांव-पेच है।

ट्रंप लगातार चीन पर कोरोना को लेकर निशाना साध रहे हैं

ब्लूमबर्ग की एक रिपोर्ट के अनुसार विधेयक के पारित होने से अमेरिका में लिस्टेड की कुछ सबसे बड़ी चीन की कंपनियों के शेयरों में गुरुवार को गिरावट दर्ज की गई। जबकि इस दौरान बाजार में तेजी रही। विधेयक में कहा गया है कि अमेरिकी कंपनियों में निवेश को बढ़ावा देने के लिए ऐसा कदम उठाया गया है। अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप लगातार चीन पर कोरोना वायरस को लेकर ठीकरा फोड़ रहे हैं और सबक सिखाने की भी बात कर रहे हैं।

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विधेयक में प्रावधान है कि यदि कोई कंपनी यह साबित करने में असफल रहती है कि वो किसी विदेशी सरकार के नियंत्रण में नहीं है या तीन साल तक अमेरिकी पब्लिक अकाउंटिंग ओवरसाइट बोर्ड (पीसीएओबी) ये पता नहीं कर पाता है कि कोई भी कंपनी किसी विदेशी सरकार के नियंत्रण में है, तो ऐसी कंपनियों को अमेरिका के शेयर बाजारों में प्रतिबंधित कर दिया जाएगा।
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हालांकि पीसीएओबी तकनीकी तौर पर अमेरिका की सरकारी संस्था नहीं है, लेकिन सिक्युरिटीज एंड एक्सचेंज कमीशन (एसईसी) के निगरानी के तहत यह संचालित होती है। एसईसी के मुताबिक अमेरिका में 224 ऐसी कंपनियां लिस्टेड हैं, जिनके स्रोत देश पीसीएओबी को लेकर आपत्ति जता रहे हैं। 

एक हफ्ते पहले अमेरिकी कंपनियों को चीन से वापस अमेरिका लाने के लिए भी कांग्रेस में एक बिल पेश किया गया है। अमेरिकी सांसद मार्क ग्रीन ने यह बिल कांग्रेस में पेश किया है। सांसद का कहना है कि अमेरिकी अर्थव्यवस्था को मजबूत बनाने के लिए अपने यहां निवेश को आकर्षित करना जरूरी है।

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