रायपुर मेयर एजाज ढेबर, पूर्व मुख्य सचिव समेत दो आईएएस और कई कारोबारियों के यहां छापे

4 वर्ष पहले
  • कॉपी लिंक
रायपुर स्थित मेयर एजाज ढेबर तीन मंजिला निवास पर आयकर विभाग की टीम कारर्यवाही करने पहुंची। - Dainik Bhaskar
रायपुर स्थित मेयर एजाज ढेबर तीन मंजिला निवास पर आयकर विभाग की टीम कारर्यवाही करने पहुंची।
  • पॉलिटिकल फंडिंग मामले के साथ ही आयकर विभाग को टैक्स चोरी करने की आशंका
  • छापे में सात बड़े नाम आए सामने, कार्रवाई में 200 से ज्यादा सीआरपीएफ जवान भी शामिल

रायपुर. छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर और भिलाई सहित 4 जिलों में गुरुवार सुबह 9.30 बजे इनकम टैक्स विभाग ने की कार्रवाई की है। टीम ने रायपुर मेयर एजाज ढेबर, उनके भाई अनवर ढेबर, पूर्व मुख्य सचिव विवेक ढांड, नान घोटाले से जुड़े रहे आईएएस अनिल टूटेजा सहित 32 जगहों पर कार्रवाई की है। इस कार्रवाई में 200 से ज्यादा सीआरपीएफ जवान शामिल हैं। इसके बारे में टीम ने कोई भी आधिकारिक बयान नहीं दिया है। 


आयकर सूत्रों ने बताया कि मेयर एजाज ढेबर के छह से ज्यादा ठिकानों पर टीम जांच कर रही है। इसके अलावा कारोबारी गुरुचरण सिंह होरा, डॉ. ए फरिश्ता, सीए संजय संचेती और सीए कमलेश्वर जैन के ठिकानों पर भी आयकर की जांच चल रही है। इस कार्रवाई में 150 से ज्यादा अफसरों की टीम शामिल है। यह सारे अफसर दिल्ली से सुबह फ्लाइट से रायपुर पहुंचे हैं। भिलाई में आबकारी विभाग के ओएसडी अरुणपति त्रिपाठी के सेक्टर 9 स्थित बंगले पर छापा मारा गया है। ओएसडी त्रिपाठी इंडियन टेलीकॅाम सर्विस के अधिकारी हैं और प्रतिनियुक्ति पर चल रहे हैं।

इन प्रमुख लोगों के यहां चल रही है कार्रवाई

  • एजाज ढेबर : रायपुर के नवनिर्चाचित मेयर एजाज ढेबर पर 2010 में मारपीट और बलवा का केस दर्ज हुआ था। इसके अलावा शहर के अलग-अलग थानों में 8 केस दर्ज हैं। इनके वेलिंगटन होटल के साथ ही कई रेस्टोरेंट हैं, जो अलग-अलग शहरों में संचालित हैं। इसके अलावा रियल स्टेट, स्टील का भी कारोबार है। आयकर विभाग इनके आवास सहित होटल में कार्रवाई कर रहा है।
  • अनवर ढेबर : मेयर एजाज ढेबर के भाई अनवर ढेबर पूर्व मुख्यमंत्री अजित जोगी के काफी करीबी रहे हैं। इसके बाद कांग्रेस के समर्थक हो गए। अनवर का ढेबर स्टील, ढेबर सिटी (रियल स्टेट) में बड़ा दखल है। संयुक्त परिवार के साथ रहते हैं। घर और ढेबर स्टील में छापा पड़ा है।
  • विवेक ढांड : पारिवारिक रूप से काफी सम्पन्न आईएएस विवेक ढांड रेरा के चेयरमैन हैं। वे रमन सिंह सरकार के दौरान 4 सालों तक 2014-18 तक राज्य के प्रमुख सचिव रहे चुके हैं। पूरा परिवार संघ के काफी करीब है। आईएएस विवेक ढांड मुख्यमंत्री भूपेश बघेल को कॉलेज में पढ़ा चुके हैं। सरकार बदलने के बाद सीएम के करीब आए। रायपुर के ही रहने वाले हैं और सिविल लाइंस में बंगला है। वहीं पर आयकर की जांच चल रही है।
  • अनिल टुटेजा : बिलासपुर के मूल निवासी आईएएस अनिल टुटेजा वर्तमान में उद्योग विभाग के संयुक्त सचिव हैं। प्रदेश के बहुचर्चित नान घोटाले में भी आरोपी हैं। इनकी पत्नी मीनाक्षी टुटेजा की पार्लर चैन है, जो रायपुर, दुर्ग, भिलाई, बिलासपुर सहित अन्य जिलों में संचालित है। बताया जाता है कि रायपुर के देवेंद्र नगर स्थित पार्लर में ही एक महीने का कारोबार 50 लाख का है। इनके बंगले सहित रायपुर और भिलाई स्थित पॉलर में कार्रवाई चल रही है।
  • गुरुचरण सिंह होरा : रायपुर विकास प्राधिकरण (आरडीए) में इंजीनियर रहे गुरुचरण सिंह होरा 2013 के आसपास नौकरी छोड़कर होटल के कारोबार में आए। इसके बाद जमीन के कारोबार में बड़ा काम किया। फिलहाल एक होटल और सिटी केबल न्यूज चैनल के मालिक हैं। इनके ऊपर हत्या का भी आरोप है। होरा का खेल संगठनों और प्रशासन में काफी दखल है। इनके बंगले पर कार्रवाई की जा रही है।

रायगढ़ और बिलासपुर में दबिश 
आयकर विभाग की रेड रायगढ़ और बिलासपुर जिले में भी पड़ी। गुरुवार की दोपहर इन दिनों जिलों में कपड़ा कारोबारी के घर और व्यापारिक संस्थानों में टीम ने दबिश दी। अधिकारियों को यहां जीएसटी में हेराफेरी की जानकारी मिली थी। जांच करने पहुंचे अधिकारियों ने फिलहाल कुछ भी कहने से इंकार करते हुए जांच के बाद ही बयान देने की बात कही है। यह रेड कपड़ा कारोबारी का नाम नौतन दास बलानी है।

स्टडी टूर का बैनर और पर्यटन के पर्चे लगी गाड़ियों से आए
सेंट्रल इनकम टैक्स की यह कार्रवाई पूरी तरह से गोपनीय रखी गई थी। सुबह 9 बजे ही सीआरपीएफ के जवानों ने अपनी-अपनी जगह ले ली थी। इसके बाद अलग-अलग गाड़ियों में अधिकारी छापे की कार्रवाई के लिए पहुंचे। खास बात यह है कि सभी अधिकारी हरियाणा और झारखंड नंबर की गाड़ियों से पहुंचे हैं। इनकी गाड़ियों पर भी अलग-अलग विभाग के पर्चे लगे हुए हैं। इनमें पर्यटन विभाग और देवस्थान विभाग जैसे नाम शामिल हैं। वहीं कुछ गाड़ियों में स्टडी टूर का बैनर भी लगा हुआ है। इस छापे की कार्रवाई में स्थानीय पुलिस और स्थानीय आयकर अधिकारियों को दूर रखा गया है। 

लक्ष्मी मेडिकल स्टोर ने 8 करोड़ रुपए सरेंडर किए
दवाई करोबारी लक्ष्मी मेडिकल ने आयकर विभाग को 8 करोड़ रुपए सरेंडर किए हैं। इनकम टैक्स विभाग की टीम ने लक्ष्मी मेडिकल के कई ठिकानों पर चार दिन पहले छापा मार कई सालों के रिकॉड खंगाले थे। तीन दिनों तक चली कार्रवाई में करोड़ों के अघोषित संपत्ति का ब्यौरा मिला था। जांच के दौरान सर्वे में प्रॉफिट कम दिखाने के साथ कैश में ज्यादा कारोबार करने और बोगस खर्चे दिखाने की बातें सामने आई थी। पिछले करीब 15 दिन से आयकर की अलग-अलग टीम प्रदेश में जगह-जगह दबिश दे रही है।

Top Cities