BJP कार्यकारी अध्यक्ष जेपी नड्डा ने धर्म को लोगों का मार्गदर्शन करने वाली ‘आचार संहिता’ करार दिया है। उन्होंने कहा है कि धर्म के बिना राजनीति बेमानी है। शुक्रवार को गुजरात के वडोदरा में आयोजित एक कार्यक्रम के दौरान स्वामीनारायण संप्रदाय के अनुयायियों को संबोधित करते हुए वह बोले कि राजनीति को सबसे अधिक आवश्यकता धर्म की होती है। धर्म और राजनीति हमेश साथ-साथ चलते हैं।

नड्डा के मुताबिक, “समाज में ये प्रश्न बार-बार खड़ा होता है कि राजनीति का धर्म से संबंध क्या है? मेरा ये मानना है कि राजनीति धर्म के बगैर विवेकहीन है। उसका कोई अर्थ नहीं है। राजनीति हमेशा धर्म के साथ चलती है।”

उन्होंने आगे बताया- और धर्म का मतलब है आचार संहिता। धर्म का मतलब है क्या करना और क्या नहीं करना। धर्म का मतलब है क्या उचित और क्या अनुचित। और इसलिए धर्म की सबसे बड़ी आवश्यकता है तो वो राजनीति में है। भाजपा हमेशा सकारात्मकता के साथ काम करती है और वही करती है जो देश और समाज के लिए अच्छा हो।”

बकौल बीजेपी चीफ, “जब भी विरोधियों ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को नकारात्मकता फैलाकर रोकने का प्रयास किया तब प्रधानमंत्री विकास में सबको साथ लेकर और अधिक ऊर्जा के साथ आगे बढ़े।”

JK के भ्रष्ट नेता ‘जेल में होंगे या जमानत पर’- नड्डाः नड्डा ने शुक्रवार को पणजी में एक रैली में कहा कि अनुच्छेद 370 को रद्द किये जाने के साथ ही जम्मू कश्मीर में अब भ्रष्टाचार की जांच की जाएगी और जो लोग दोषी पाए जाएंगे वे ‘‘या तो जेल में होंगे या जमानत पर’’।

उनके मुताबिक, जम्मू कश्मीर के लोग राज्य का विशेष दर्जा खत्म किये जाने से खुश हैं क्योंकि वे भारत की मुख्यधारा का हिस्सा बने हैं। अगस्त 2019 में अनुच्छेद 370 को रद्द किये जाने से पहले संसद द्वारा पारित कुछ कानून इस हिमालयी राज्य में लागू नहीं होते थे।

उन्होने आगे दावा किया ‘‘भ्रष्टाचार निरोधक अधिनियम जैसे कानून जम्मू कश्मीर में लागू नहीं होते थे, इसलिये यहां नेता भ्रष्टाचार में शामिल होने के बावजूद अपना रास्ता (भ्रष्टाचार के लिये) निकाल लेते थे।’’